जॉन्सन्स ने भारत में लाया नया कॉटनटच
नवीनतम टीवीसी में उत्पादों के अनूठेपन और इनके मखमली अनुभव के बारे में बताया गया है
जॉन्सन्स® बेबी ने दुनिया भर की मांओं के लिए शिशुओं की सर्वोत्तम देखभाल वाले उत्पाद उपलब्ध कराने की हमेशा से कोशिश की है। इसी क्रम को जारी रखते हुए, इस प्रतिष्ठित बेबी केयर ब्रांड ने हाल ही में भारत में नया कॉटनटच® लॉन्च किया।
इस रेंज पर केंद्रित टीवीसी में कोमलतम उत्पादों के साथअपने शिशु को मखमली स्पर्श देने के मां के संकल्प को रेखांकित किया गया है। इसमें नवीनतम कॉटनटच® के अनूठेपन को दिखाया गया है और इसकी अपूर्व कोमलता के अनुभव के बारे में बताया गया है। इस टीवीसी को पूरे भारत में 10भाषाओं में रिलीज किया गया है।
डीडीबी मुद्रा ग्रुप द्वारा परिकल्पित,इस टीवीसी को तारतम्य तरीके से दिखा गया है जहां नई कॉटनटच® रेंज का उपयोग करके एक मां अपनी नन्हीं-सी जान पर अपनी ममता लुटाती है। इसमें दिखाया गया है कि किस तरह से वह कॉटनटच® की कोमलता को गले से लगा लेती है और अपूर्व सुख का अनुभव करती है।
उसे अपने शिशु के मखमली स्पर्श से सुखद आश्चर्य का अहसास होता है। इस टीवीसी में उत्पाद को तैयार करने में उपयोग किये गये पदार्थों के बारे सफलतापूर्वक बताया गया है, जैसे कि कपास के कुदरती गुण जो जलन पैदा नहीं करते और अपूर्व कोमलता के अनुभव का वादा निभाते हैं।
लॉन्च के बारे में प्रतिक्रिया जताते हुए, जॉन्सन एंड जॉन्सन कंज्यूमर इंडिया के वाइस प्रेसिडेंट मार्केटिंग, मनोज गाडगिल ने बताया, ”जॉन्सन्स, वर्षों से शिशुओं की सर्वोत्तम देखभाल के लिएविकल्प उपलब्ध कराने में अग्रणी रहा है। यह कैंपेन जॉन्सन्स® कॉटनटच की नई रेंज के बारे में बताता है जो मांओं से अपूर्व कोमलता का अनुभव देने वाले उत्पादों का वादा करता है। नया कॉटनटच®, उत्पादों की एक नयी रेंज है
जिसमें प्रमुख रूप से कॉटन का उपयोग किया गया है और इस टीवीसी के जरिए, हम विज्ञान और शोध के जरिए शिशु की देखभाल के प्रतिअपने संकल्प को दोहराते हैं। हमने ऐसे चुनौतीपूर्ण समय में भी बेहद प्यार के साथ यह नई रेंज लायी, ताकि कोमलतम स्पर्श के साथ मां-बच्चे के बीच ममतामयी प्रेम को और भी अधिक प्रगाढ़ कर सकें।”
टीवीसी के बारे में बताते हुए, डीडीबी मु्द्रा ग्रुप के नेशनल क्रिएटिव डाइरेक्टर, राहुल मैथ्यू ने कहा, ”जॉन्सन्स केवल प्रोडक्ट्स ही लॉन्च नहीं करता, बल्कि यह ब्रांड मां-बच्चे के बीच के स्नेहपूर्ण बंधन और उनके रिश्ते को गहरा भी बनाता है। और इस बंधन और रिश्ते का अत्यावश्यक हिस्सा है, स्पर्श। और हमने इसमें उसे ही जीवंत रूप में दिखाया है।”